राष्ट्रों की सीमाएं टूट गईं।
युद्ध के नगाड़े थम गये,
आतंकी
बंदूकें खामोश हैं;
अमीर-गरीब का भेद मिट गया।
आलिंगन, चुम्बन का स्थान;
मर्यादित आचरण ने ले लिया।
क्लब, स्टेडियम, पब, मॉल,
होटल, बाज़ार के
ऊपर
अस्पताल की महत्ता स्थापित हो गई।
अर्थशास्त्र के ऊपर चिकित्साशास्त्र स्थापित हो गया।
एक
सुई, एक थर्मामीटर; गन,
मिसाइल
टैंक से अधिक
महत्वपूर्ण हो गया।
मंदिर बंद, चर्च
बंद
,दरगाह, और मस्जिद बंद!
हृदय में विराजमान प्रभु को पूजो।
धर्म
पर अध्यात्म स्थापित हो गया।
भीड़ में खोया आदमी,
परिवार में लौट आया।
सिर्फ
एक वायरस ...
मानो कि प्रकृतिको मनुष्य की..
प्रकृति पर विजय प्राप्त करनी है।