SMILE 3.0 गृहकार्य दिनांक 20 जुलाई 2021
कक्षा-12 विषय-
हिन्दी (पत्र लेखन)
प्रश्न
-1. अर्द्धशासकीय पत्र किसके मध्य लिखा जाता है ?
उत्तर – अर्द्धशासकीय पत्र /अर्द्धसरकारी पत्र (सरकारी +व्यक्तिगत पत्र का मिश्रण )
अंग्रेजी में डी.ओ लैटर
जब कोई सरकारी
अधिकारी सरकारी कार्य के लिए अन्य किसी सरकारी अधिकारी को व्यक्तिगत नाम से
अपेक्षित सूचनाओं, स्पष्टीकरण एवं सम्मति प्राप्ति के क्रम में कोई पत्र भेजता है
अथवा पूछता है या ध्यानाकर्षण करता है, तो वह पत्र व्यक्तिगत पत्र
शैली में लिखा होने के कारण उसे अर्द्ध शासकीय या अर्द्ध सरकारी पत्र कहते हैं।
⇒ इन पत्रों के प्रारम्भ में संबोधन के रूप में ’महोदय’ जैसे शब्दों का प्रयोग नहीं करके ’प्रिय श्री’ या ’प्रियवर श्री’ जैसे शब्दों का प्रयोग किया जाता है।
प्रश्न -2 प्रेषिति का नाम,पदनाम तथा पता पत्र में किस
ओर लिखा जाता है ?
उत्तर – पत्र के अन्त में
बाईं ओर संबंधित प्राप्तकर्ता अधिकारी का नाम, पदनाम और पूरा
पता दिया जाता है।
प्रश्न
-3
‘हाँ’ या ‘ना’ में जवाब दे –
·
अर्द्धशासकीय
पत्र सरकारी पत्र का उपभेद है |
·
इस
पत्र में औपचारिकता का प्रयोग होता है |
·
प्रेषक
के पदनाम का उल्लेख किया जाता है |
·
प्रेषिति
के पदनाम का उल्लेख किया जाता है |
उत्तर – हाँ ,ना, ना, हाँ,
प्रश्न
-4 अर्द्धशासकीय पत्र का प्रयोग कब करते है ?
उत्तर – जब किसी आवश्यक काम की ओर संबंधित अधिकारी का ध्यान तुरंत आकृष्ट
कराना हो, सरकार के किसी आदेश का परिपालन शीघ्रता से कराना हो,या किसी विभाग से कोई जानकारी अविलम्ब लेना हो तब अर्ध सरकारी पत्र भेजे जाते हैं।
प्रश्न
-5
अर्द्धशासकीय पत्र का
प्रारूप बनाइये |
उत्तर – अर्द्धशासकीय
पत्र प्रारूप
प्रेषक नाम पता
कार्यालय
पत्र
क्रमांक दिनांक स्थान
प्रिय सम्बोधन
विषयवस्तु
प्रेषिति का नाम आपका (शुभेच्छु /भवनिष्ठ)
पता हस्ताक्षर
उदाहरण :- सचिव, शिक्षा विभाग, राजस्थान, जयपुर की ओर
से सचिव, स्वास्थ्य एवं
परिवार कल्याण विभाग को एक अर्द्धशासकीय पत्र लिखिए, जिसमें सरकारी विद्यालय के विद्यार्थियों की नियमित स्वास्थ्य जाँच का
आग्रह हो।
राजस्थान सरकार
श्रीमती अपर्णा अरोरा
सचिव
शिक्षा विभाग
शासन सचिवालय, जयपुर
क्रमांक -123 दिनांक 20 जुलाई , 2021
प्रिय श्री सिद्धार्थ
महाजन जी ,
आपको विदित है कि राजस्थान के लगभग 80% विद्यार्थी सरकारी विद्यालयों में ग्रामीण
क्षेत्र में अध्ययनरत हैं, जिनकी आर्थिक
स्थिति मध्यम अथवा निम्न स्तर की है। इन विद्यार्थी के स्वास्थ्य की नियमित जाँच
हेतु विभाग द्वारा नियमित रूप से शिविर लगाए जाते हैं। आप से आग्रह है कि जिला
चिकित्सा अधिकारियों को अपनी विशिष्ट सेवाएँ इन शिविरों में देने हेतु पाबन्द करें, ताकि ग्रामीण-जीवन का एवं भावी नागरिकों का
स्वास्थ्य उन्नत हो सके।
आशा है आपका सहयोग प्राप्त होगा।
धन्यवाद।
भवदीय
हस्ताक्षर
(श्रीमती अपर्णा अरोरा )
श्री सिद्धार्थ
महाजन
सचिव, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण,
राजस्थान, जयपुर।